काबुल । अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जे के बाद अमेरिकी सेना के स्वदेश लौटने के बाद अपने भविष्य को लेकर डर के साये में जी रहे 100 से 150 अमेरिकी नागरिकों के अफगानिस्तान छोड़ने का रास्ता खुल जाएगा। तालिबानी अधिकारी आने वाले घंटों में इसके लिए इजाजत दे सकते हैं। इन लोगों को काबुल से रवाना होने वाली पहली उड़ान में सवार होने की अनुमति मिलने की उम्मीद है। कतर के अधिकारियों ने यह जानकारी दी। अमेरिकी सैनिकों के देश से हटने के बाद यह हवाई अड्डे से पहली ऐसी उड़ान होगी। अधिकारियों ने बताया कि अमेरिकी और अन्य पश्चिमी देशों के नागरिकों का एक बड़ा समूह कतर एयरवेज की एक उड़ान से रवाना होगा। इसी विमान से देश के लिए मानवीय सहायता लाई गई थी। काबुल अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर कतर के विशेष दूत मुतलाक बिन माजिद अल कहतानी ने कहा कि उड़ान अमेरिकी और पश्चिमी देशों के नागरिकों को लेकर रवाना होगी।
उन्होंने कहा, 'इसे आप जो चाहें, कह सकते हैं, चार्टर या वाणिज्यिक उड़ान, सभी के पास टिकट और बोर्डिंग पास हैं।' उन्होंने कहा कि ऐसी ही एक और वाणिज्यिक उड़ान शुक्रवार को रवाना होगी। विशेष दूत ने कहा, 'उम्मीद है कि अफगानिस्तान में जीवन सामान्य हो रहा है।' अफगानिस्तान में तालिबान राज आने के बाद जहां हजारों की तादाद में लोग काबुल इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर जमा हैं। ये सभी तालिबान के खौफ से देश को छोड़कर जाना चाहते हैं। वहीं इससे भी भयानक हालात अब पाकिस्तान- अफगानिस्तान की सीमा पर उत्पन्न हो गए हैं। पाकिस्तान के चमन बॉर्डर से सटे अफगानिस्तान के स्पिन बोल्डाक बॉर्डर पर कई हजार लोग अब सीमा पार करने के लिए जमा हो गए हैं।