नई दिल्ली । हॉकी इंडिया के प्रमुख ज्ञानेंद्रो निंगोम्बाम भारतीय खिलाडिय़ों के एफआईएच सालाना पुरस्कारों में सभी पुरस्कार जीतने पर बेल्जियम की नाराजगी पर कड़ी आपत्ति जताते हुए कहा कि यह भी एक प्रकार का ‘नस्लीय भेदभाव’ ही है।
निंगोम्बाम ने कहा है कि इस मामले की अंतरराष्ट्रीय हॉकी महासंघ (एफआईएच) को भी जांच करनी चाहिये। निंगोम्बाम ने अंतरराष्ट्रीय हॉकी महासंघ (एफआईएच) के मुख्य कार्यकारी अधिकारी थिएरी वेल को लिए एक पत्र में कहा कि बेल्जियम और उसके खिलाडिय़ों का मतदान प्रणाली पर सवाल उठाना भारतीय पुरस्कार विजेताओं का अपमान करने और उनके कौशल पर सवाल उठाने की तरह ही है।
इस प्रकार किसी की उपलब्धियों को कम आंकना एक प्रकार का भेदभाव की कहा जाएगा। निंगोम्बाम ने अपने इस पत्र में लिखा कि भारतीय विजेताओं की घोषणा पर नाराजगी के सार्वजनिक बयान बेहद अपमानजनक हैं और यह हॉकी खेल और खेल भावना के विपरीत भी हैं। उन्होंने साथ ही लिखा कि बेल्जियम महासंघ के इस आरोप की जांच होनी चाहिये।