आज के समय में अनिल कपूर बॉलीवुड के सुपरस्टार और सफल एक्टर्स में से एक गिने जाते हैं, लेकिन एक समय था उन्हें लोग पहचानते नहीं थे। इंडस्ट्री में अपने लिए जगह और नाम बनाने में अभी उन्हें वक्त था। तब चाचा राज कपूर ने उनके परिवार की मदद की थी। बॉलीवुड की फर्स्ट फैमिली के तौर पर जाने जानेवाले कपूर फैमिली के सदस्य आज तक बॉलीवुड पर राज कर रहे हैं। हालांकि, अनिल कपूर के फैमिली बैकग्राउंड की बात करें तो उनके पिता सुरिन्दर कपूर पृथ्वीराज कपूर के चचेरे भाई थे। रिपोर्ट्स के मुताबिक, जब उनकी फैमिली पहली बार मुंबई पहुंची तो उन्हें राज कपूर के गराज में रहना पड़ा था।
बताया जाता है कि इसके बाद पृथ्वीराज कपूर ने ही सुरिन्दर कपूर को मुंबई इन्वाइट किया था और फिल्म इंडस्ट्री जॉइन करने की सलाह दी थी। अनिल कपूल के पिता ने इंडस्ट्री में अपने ही भतीजे शम्मी कपूर की वाइफ गीता बाली के सेक्रेटरी के तौर पर काम करने लगे।
भाई के परिवार को गराज में ठहराए थे राज कपूर!
मीडिया रिपोर्ट्स में इस बात की चर्चा है कि जब उनका परिवार मुंबई आया तो राज कपूर ने उन्हें अपने गराज में ठहराया था। इसके बाद वे लोग मुंबई के उपनगर में मिडल क्लास अपार्टमेंट में शिफ्ट हुए थे।
अनिल कपूर के पिता ने राजेश खन्ना के बदौलत बनाई इंडस्ट्री में पहचान
हालांकि, सुरिन्दर कपूर को इंडस्ट्री में पहचान मिली राजेश खन्ना की वजह से। उन्होंने अपने एक इटरव्यू में बताया था कि राजेश खन्ना ने उनकी फिल्म 'शहजादा' में लीड रोल निभाया था और बिना फीस वगैरह पर चर्चा किए वह इस फिल्म को करने के लिए तैयार हो गए थे और कहा था कि फिल्म बनने के बाद इसे सेटल करेंगे। इसी के साथ एस.के. इंटरनैशनल फिल्म्स कंपनी बनी। बतौर प्रड्यूसर यह उनकी पहली सक्सेसफुल थी।
अनिल कपूर के पास नहीं होते थे कैब के पैसे
बता दें कि अनिल कपूर के बारे में ये किस्सा खूब सुनने को मिला है कि जब वह सुनीता को डेट कर रहे थे और उनसे मिलने जाया करते थे तो उनके पास कैब के भी पैसे नहीं होते थे। जब अनिल कपूर सुनीता को डेट कर रहे थे तो उस समय वह स्ट्रगल कर रहे थे और तब सुनीता एक सफल मॉडल हुआ करती थीं।
अनिल और सुनीता की शादी के लिए परिवार नहीं था तैयार
सुनीता बड़ी और अच्छी फैमिली से थीं और अनिल स्ट्रगल कर रहे थे। इसलिए सुनीता के घरवालों को ये रिश्ता पसंद नहीं था। अनिल उनसे मिलने के लिए घंटों बस का सफर तय करके पहुंचते थे और कई बार सुनीता के कहने पर जब वो कैब से आते भी थे तो उसके पैसे वही दिया करती थीं।