कोरबा कोरबा जिले में कोल इंडिया पेंशनर्स एसोसियेशन एसईसीएल के द्वारा पेंशन नीति में सुधार के लिए प्रदर्शन करने के साथ कोल इंडिया मैनेजमेंट और भारत सरकार को संबोधित ज्ञापन सौंपा। काफी संख्या में पूर्व अधिकारी और कर्मचारी प्रदर्शन का हिस्सा बने। उनकी शिकायत इस बात को लेकर है कि वर्षों के बाद भी पेंशन के मामलों को लेकर स्पष्ट नीति नहीं बनायी जा सकी और ना ही इस बारे में उचित रूप से विचार किया गया।
संरक्षक बलदेव सिंह ने बताया कि कोयला कंपनी में वर्षों तक काम कर चुके अनेक कर्मचारियों को वर्तमान में केवल 49 रूपए की राशि दी जा रही है। जबकि 50 रूपए से कम में कोरबा की ही कई होटलों में चाय नहीं मिलती। सरकार के नियमानुसार हर तीन वर्ष में पेंशन राशि के मामले को देखना है और हल हाल में इसका स्लैब परिवर्तित करने के साथ पुनरीक्षण भी करना है। 21 साल की समयावधि में अब तक पेंशन का पुनरीक्षण नहीं किया गया।
संरक्षक ने बताया कि कोल इंडिया में पेंशन नीति के कारण डेढ़ से दो लाख कर्मचारियों को काफी नुकसान हो रहा है। 14-15 साल से विसंगतियों के बारे में एसोसियेशन ने आवाज उठायी है। एसोसिएशन के अध्यक्ष सुबोध सिंह ने बताया कि पेंशन की विसंगतियों के कारण वर्तमान में जो वर्ग परेशान हो रहा है वहीं समस्याएं आने वाले दिनों में दूसरे कर्मचारियों को परेशान कर सकती हैं।