उन्होंने लिफ्ट दिया, उसके दोनों पैर मुड़े हुए थे
वहीं, फिल्ममेकर श्याम रामसे के साथ एक बार तब अजीब घटना हुई जब वह महाबलेश्वर से अपनी किसी फिल्म की शूटिंग करके लौट रहे थे। बताया जाता है कि रास्ते में एक महिला ने उनसे लिफ्ट मांगी। श्याम रामसे ने उस महिला को गाड़ी में बिठा तो लिया लेकिन वो दिखमे में काफी अजीब लग रही थी और उसकी बॉडी लैंग्वेज भी आम लोगों से अलग थी। श्याम रामसे उन्हें देखकर काफी डर गए और जैसे-तैसे उस महिला को गाड़ी से उतारा। इतना ही नहीं, कहते हैं जिसे उन्होंने लिफ्ट दिया, उसके दोनों पैर मुड़े हुए थे, ठीक वैसे जैसे चुड़ैलों के बताए जाते हैं।
इसी घटना पर 5 साल बाद बनाई फिल्म 'वीराना'
साल 1983 में घटी इसी घटना को दिमाग में रखकर बाद में साल 1988 में फिल्म 'वीराना' बनाई गई। इस फिल्म में यही दिखाया गया कि कैसे एक बेहद खूबसूरत महिला का रूप लेकर एक चुड़ैल राहगीरों से लिफ्ट मांगती है और लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ती है।
कब्रिस्तान से साउंड रिकॉर्ड करके घर आए उसे सुनकर सबके होश उड़ गए
इस रिपोर्ट में एक और किस्सा का जिक्र है जो साउंड रेकॉर्डिंग से जुड़ा है। बताया गया है कि रामसे ब्रदर्स में से एक किरण रामसे कब्रिस्तान जाते और वहां हवा की सनसनाहट, जानवरों की आवाजस पक्षियों और कीड़े-मकोड़ों की आवाज भी रिकॉर्ड करते थे जिसे फिल्म में यूज किया जाता था।
एक बार वे कब्रिस्तान से साउंड रिकॉर्ड करके घर आए और जब उसे सुना तो सभी के होश उड़ गए क्योंकि उसमें किसी आदमी के सांस लेने की आवाजें आ रही थीं।