हूतियों के हमले का शिकार हुए जहाज MV अंड्रोमेडा स्टार पर रविवार (28 अप्रैल) को भारतीय नौसेना पहुंची। नौसेना ने जहाज को सुरक्षित करने के लिए एरियल रैकी समेत कई सिक्योरिटी ड्रिल्स किए। नौसेना ने कहा है कि शिप पर मौजूद 22 भारतीयों समेत 30 लोगों का क्रू सेफ है।
दो दिन पहले 26 अप्रैल को भारत आ रहे इस जहाज पर लाल सागर में मिसाइल अटैक हुआ था। इसकी जिम्मेदारी यमन के हूती विद्रोहियों ने ली थी।
नौसेना ने ऑफिशियल स्टेटमेंट में कहा कि नेवल डिस्ट्रॉयर जहाज INS कोच्चि ने MV एंड्रोमेडा स्टार जहाज को लाल सागर में रोका। इसके बाद जहाज पर नेवी की बोर्डिंग EOD टीम ने रिस्क असेसमेंट किया। एक्लप्लोसिव ऑर्डिनेंस डिसपोजल (EOD) टीम का काम जहाज पर किसी भी तरह के खतरे का आकलन करना होता है। इसके अलावा यह टीम खतरनाक विस्फोटकों की पहचान करती है।
जहाज पर कई मिसाइलों के साथ 2 बार हमले हुए
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक शुक्रवार (26 अप्रैल) भारत आ रहे MV अंड्रोमेडा स्टार जहाज पर 2 बार हमला हुआ था। इस दौरान हूतियों ने कई मिसाइलें दागीं थी। हालांकि, पहले हमले में दागी गई मिसाइलें जहाज पर न गिरकर उसके नजदीक समुद्र में गिरीं थी। दूसरे हमले में जहाज को नुकसान पहुंचा था।
लाल सागर में जहाज पर हमला कई दिनों की शांति के बाद अचानक हुआ था। इससे पहले इजराइल के साथ तनाव के बीच ईरान ने भारत आ रहे एक जहाज को होर्मुज पास से कब्जे में ले लिया था। ईरान ने कहा था कि वे बिना मंजूरी उनकी समुद्री सीमा में घुसा था। जहाज के क्रू मेंबर्स में 17 भारतीय और 2 पाकिस्तानी भी थे।
हूतियों ने शुक्रवार( 26 अप्रैल) को अमेरिका के MQ-9 रीपर ड्रोन को भी अपना निशाना बनाया था। हूतियों ने यमन के सादा प्रोविंस में ड्रोन को मिसाइल अटैक से मार गिराया था।
हूतियों के हमले से भारत को नुकसान
ग्लोबल ट्रेड का करीब 12% और 30% कंटेनर ट्रैफिक हर साल लाल सागर के स्वेज कैनाल से होकर गुजरता है। लेकिन हूती विद्रोहियों के हमलों से यूरोप और एशिया के बीच मुख्य मार्ग पर अंतरराष्ट्रीय व्यापार को समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है।
भारत का 80% व्यापार समुद्री रास्ते से होता है। वहीं 90% ईंधन भी समुद्री मार्ग से ही आता है। समुद्री रास्ते में हमले से भारत के कारोबार पर सीधा असर पड़ता है। इससे सप्लाई चेन बिगड़ने का खतरा है। हूतियों से निपटने के लिए अमेरिका ने करीब 10 देशों के साथ मिलकर एक गठबंधन भी बनाया है, जो लाल सागर में हूतियों को रोकने और कार्गो शिप्स को हमले से बचाने का काम कर रहा है।
यूरोप से सामान लाने के लिए भारत के पास ये दो रास्ते
इजराइल-हमास जंग के बीच फिलिस्तीनियों के समर्थन में हूती विद्रोही लगातार लाल सागर में जहाजों पर हमला कर रहे हैं। इसकी वजह से कई जहाज अपना रास्ता भी बदल रहे हैं। हूतियों के हमलों के जवाब में अमेरिका और ब्रिटेन ने मिलकर अब तक 4 बार यमन में हूतियों के ठिकानों पर एयरस्ट्राइक की है।
अमेरिकी मीडिया ब्लूमबर्ग की रिपोर्ट के मुताबिक, लाल सागर में लगातार हो रहे हूतियों के हमलों के कारण अंतरराष्ट्रीय ट्रेड पर गंभीर असर पड़ रहा है। भारत से यूरोप के लिए डीजल की सप्लाई पिछले 2 सालों के सबसे निचले स्तर पर पहुंच गई है। इसमें करीब 90% की गिरावट दर्ज की गई है। एशिया से यूरोपियन यूनियन (EU) और ब्रिटेन जाने वाले कार्गो के शिपिंग चार्ज बढ़ गए हैं।