इंस्पेक्टर प्रियंका की टीम को आरोपी के कोलकाता में होने का पता चला। एसआई अंकुर यादव, एएसआई रोहित सोलंकी, हेड कॉन्स्टेबल गुरविंदर और नितिन सरोहा की टीम इसे पकड़ कर ले आई। पूछताछ में आरोपी ने बताया कि वह काफी समय से नवजात बच्चों को खरीदने-बेचने का धंधा कर रहे थे। गैंग ज्यादातर बहला-फुसलाकर और लालच देकर गरीब पैरंट्स से उनके बच्चे खरीद लेता था, जिन्हें मुंह मांगे रेट में बेच देता था। गैंग अस्पताल, बस अड्डे और रेलवे स्टेशन से बच्चे चोरी करने का काम भी करता था।