भोपाल । पूरे प्रदेश के साथ-साथ भोपाल में डेंगू लगातार नया खतरा बनता जा रहा है। हैरानी की बात यह है कि कई मरीजों के प्लेटलेट्स डाक्टर्स की तमाम कोशिश के बाद भी कम नहीं हो रहे हैं। इससे मरीज, उनके परिजनों के साथ डाक्टर्स भी परेशान हो रहे हैं। सबसे बुरी बात तो यह है कि कोरोना की तरह डेंगू के वायरस भी बार-बार बदल रहे हैं. डाक्टर्स
वायरस के म्यूटेशन की आशंका जता भी रहे हैं।
राजधानी भोपाल में डेंगू के मरीजों की संख्या 291 हो गई
है। कोरोना की तरह डेंगू वायरस भी बदल रहा है।
डेंगू के मरीजों में अलग लक्षण मिल रहे हैं। कई मरीजों में पॉजीटिव होने के बावजूद प्लेटलेट्स कम नहीं हो रहे तो कई ऐसे भी हैं जो बिना बुखार के ही पॉजीटिव हो गए। चिकित्सक भी इससे हैरान हैं और वायरस के म्यूटेशन की भी आशंका जता रहे हैं।
सात दिन बुखार, पर नहीं
घटे प्लेटलेट्स
लालघाटी के रोहित कुमार को जोड़ों में दर्द के साथ तेज बुखार आया तो डेंगू टेस्ट कराया। बुखार तेज होने पर वे एक निजी अस्पताल में भर्ती हो गए। पहले दिन ब्लड रिपोर्ट में प्लेटलेट्स 1.75 लाख मिली।
अगले दिन प्लेटलेट्स की संख्या कम होकर 1.65 तक हुई
लेकिन इसके बाद प्लेटलेट्स नहीं घटी। अमूमन डेंगू के इलाज के दौरान प्लेटलेट्स की संख्या तेजी से कम होती है।यह दो से तीन दिन में ही 25 हजार तक
पहुंच जाती है।
बिना बुखार पॉजीटिव हो गए
बेटी के डेंगू पॉजीटिव होने के बाद पिजा रवि श्रीवास्तव को पैरों में दर्द हुआ। जिला अस्पताल में दिखाया तो डेंगू पॉजीटिव मिला। ब्लड टेस्ट में भी पहले दिन प्लेटलेट्स 1.5 लाख थे,
लेकिन अगले दिन घटकर 60 हजार और
फिर 35 हजार पर
पहुंच गया। रवि को अस्पताल में भर्ती कराया गया। यहां तीन दिन इलाज के बाद प्लेट्लेटस काउंट बढ़े। डॉक्टर हैरान है कि बुखार क्यों नहीं आया।