5- व्यापार और द्विपक्षीय समझौते
यदि राजनयिक तनाव जारी रहता है, तो भारतीय और कनाडाई कंपनियों से जुड़े व्यावसायिक आदान-प्रदान, संयुक्त उद्यम और कॉर्पोरेट भागीदारी धीमी हो सकती है। इससे आईटी, दूरसंचार और परामर्श जैसे क्षेत्रों में कनाडाई कंपनियों के लिए काम करने वाले भारतीय पेशेवरों के लिए नौकरी के अवसर कम हो सकते हैं। भारत और कनाडा व्यापक आर्थिक भागीदारी समझौते (सीईपीए) पर भारत और कनाडा चर्चा कर रहे थे, उसे रोका जा सकता है।