भोपाल । प्रदेश के जबलपुर शहर की ओमती थाना पुलिस ने शादी के नाम पर लोगों को ठगी का शिकार बनाने वाले एक गिरोह का खुलासा किया है। इसके चार सदस्यों को पुलिस ने दबोचा है। एक अन्य हिरासत में है। पुलिस ने मामले में लुटेरी दुल्हन बनी धनंवतरी नगर निवासी उर्मिला अहिरवार , नेहरू नगर पहाड़िया गढ़ा निवासी अर्चना बर्मन, शाहीनाका गढ़ा निवासी अमर सिंह ठाकुर और भागचंद कोरी को गिरफ्तार किया है। उर्मिला अहिरवार की नवनिवेश कॉलोनी गंगानगर गढ़ा निवासी भागचंद कोरी से दो साल पहले चंडी मेले में मुलाकात हुई थी। तब से वे एक दूसरे को पसंद करने लगे थे। दोनों एक-दूसरे से शादी करना चाहते थे, लेकिन उसके कदम फरेब और फ्रॉड पर बढ़ते हुए जेल तक पहुंच गए। इस काम में पूरी गैंग लगी रहती।
कोई मौसा तो कोई फूफा बनता। पड़ोस की महिला बुआ और मौसी बन जाती। कहानी की शुरुआत 8 साल पहले जबलपुर के धनवंतरी नगर के साईं कॉलोनी से शुरू होती है। यहां की युवती उर्मिला अहरिवार की 20 साल की उम्र में पहली शादी अजय अहिरवार से हुई। अजय की अचानक मौत हो गई। तब से वह मायके आकर रहने लगी। पिता प्रभु अहिरवार और मां बसंती अहिरवार मजदूरी करते हैं। उर्मिला सिलाई करके अपना खर्च चलाने लगी। इसी दौरान भागचंद कोरी से चंडी मेला में मुलाकात हुई और दोनों में प्यार हो गया। उर्मिला के पड़ोस में ही अर्चना बर्मन रहती है। दो साल पहले उर्मिला की मुलाकात अर्चना ने श्याम से कराई। श्याम भी गंगानगर में रहता है। इस गैंग में एक और एंट्री हुई, जिसका नाम अमर सिंह पटेल था। सभी को रुपयों की जरूरत थी।
इसलिए लुटेरी दुल्हन की गैंग बनाई। अमर सिंह पटेल और श्याम दलाल की भूमिका में थे। वे उम्रदराजों की तलाश करते, जिनकी शादी नहीं हो रही थी।गैंग ने पहला शिकार 35 साल के विजय को बनाया। विजय की काफी समय से शादी नहीं हो रही थी। दो साल पहले श्याम ने शादी का प्रस्ताव रखा। उर्मिला से विजय की शादी हो गई। ये रिश्ता चार महीने तक चला। उर्मिला मौका देखकर जेवर और नकदी लेकर मायके आ गई। उसने पति पर प्रताड़ना का आरोप लगाते हुए तलाक का केस लगा दिया है। श्याम ने ही अर्चना के साथ मिलकर दूसरी शादी सागर में कराई। यहां वह 15 दिन रही। वह जेवर आदि लेकर मायके चली आई। उसे इस शादी के एवज में 22 हजार रुपए मिले थे। गैंग ने दमोह के पथरिया में मोमावली नाम के 38 साल के युवक से शादी कराई।
ये शादी भी 15 दिन की रही। जेवर और पैसे लेकर वह मायके चली आई। इस शादी के एवज में उसे 17 हजार रुपए मिले थे। गैंग ने उसकी चौथी शादी राजस्थान के राजाखेड़ा में कराई। यहां भी दूल्हे की उम्र 35 पार थी। वह 15 दिन रही। गहने और जेवर लेकर फरार हो गई। सातवां शिकार भीमगढ़ छपरा सिवनी निवासी 41 साल के दशरथ पटेल को बनाया। मंगलवार को कोर्ट स्थित मंदिर में शादी के कुछ देर बाद गहने और नकदी लेकर उर्मिला भाग गई। उसकी पड़ोस की अर्चना बर्मन पकड़ी गई और पूरी गैंग का खुलासा हो गया। उधर, लुटेरी दुल्हन के शिकार बने भीमगढ़ छपरा सिवनी निवासी दशरथ पटेल के अरमान ही टूट गए। 41 वर्ष की उम्र में पहली बार शादी होने जा रही थी। पर लुटेरी गैंग का शिकार बनने के बाद उसने शादी करने से ही तौबा कर ली। बोला कि वह ऐसे ही ठीक है। शादी के बाद भागी होती, तो उसकी रही-सही इज्जत भी चली गई होती। गिरोह ने दशरथ पटेल से 35 हजार रुपए, मंगलसूत्र, पायल और कपड़े आदि लिए थे। पुलिस अब तक 19 हजार 500 रुपए, मंगलसूत्र, 4 मोबाइल व बाइक जब्त कर चुकी है।